मेरे अर्थ
मेरे भीतर छिपे अर्थ को व्यक्त करते शब्द
Thursday, March 27, 2025
ग़ैर-मौजूदगी
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अब बस ढोता हूँ तुम्हारी ग़ैर-मौजूदगी को एक बोझे की मानिंद— बोझा जिसे किसी ने एक हुक में पिरोकर मेरी चमड़ी के ठीक नीचे टाँक दिया हो। सां...
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Monday, December 16, 2024
पुराने मोड़ से रस्ते नए निकल जाते हैं
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पुराने मोड़ से रस्ते नए निकल जाते हैं नए तजुर्बों से पुराने हल निकल जाते हैं सच कहूँ तिरी बात से अब कोई गिला नहीं ये तो आँसू हैं, बस यूं ही न...
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Friday, January 26, 2024
यूं सफ़र-ए-हयात का अंजाम लिख दिया
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यूं सफ़र-ए-हयात का अंजाम लिख दिया हर ख़ुशी हर ग़म पे तेरा नाम लिख दिया ख़ुद को ख़त लिखते रहे तेरे नाम के आख़िरी अलविदा भी कल शाम लिख दिया रा...
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Wednesday, January 24, 2024
وں سفر حیات کا انجام لکھ دیا
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وں سفر حیات کا انجام لکھ دیا ہر خوشی ہر غم پہ تیرا نام لکھ دیا خود کو خط لکھتے رہے تیرے نام کے آخری الوداع بھی کل شام لکھ دیا رات بھ...
Monday, January 15, 2024
इक हादसा-सा कुछ टल गया
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इक हादसा-सा कुछ टल गया आज का दिन भी यूं ढल गया पता तो उसका आज भी वही है शख़्स जो वां था, बदल गया ख़ुशियां होतीं तो जा चुकी ...
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